Solar panel क्या होते है ? |
Solar panel क्या होते है ?
Solar panel एक Mechanical या यांत्रिक मशीन है जो सूर्य की ऊर्जा को सोख कर हमे DC Current देती है जिसको बैटरी में स्टोर या संचय करके उसको Inverter के माध्यम से AC Current में बदल कर उसको बिजली के रूप में इस्तेमाल किया जाता है जिसे Solar panel कहते है।
solar panel market में 3 प्रकार के मिलते है
- Blue (Mono crystalline )
- Black (Poly crystalline )
- Thin Film
solar panel को बढ़ावा देने के लिए PM MODI JI ने One sun one grid की बात की है जो की पूरी दुनिया को एक साथ Solar panel के द्वारा जोड़ने का कार्य कर रहे है।
Solar panel के भाग (Parts)
Solar panel कैसे कार्य करता है
सौर ऊर्जा या सूर्य की ऊर्जा को माध्यम बनाकर बिजली उत्पादन का कार्य किया जाता है जो निम्न प्रकार से पूरा होता है धरती पर सूरज की ऊर्जा सबसे प्रचुर मात्रा में और बिलकुल मुक्त उपलब्ध होने वाली ऊर्जा होती है बालू या रेत का सोलर सेल में प्रायोग करने के लिए उसे 99 % सुद्ध किया जाता है फिर उसे कार्बन के साथ मिला कर इसे प्यूरिफिकेशन की प्रक्रिया से गुजरा जाता है फिर इस मिक्सर को हाइड्रोजन से साथ मिलाने के बाद फिर ऐसे बहोत पतले पट्टियों में बदल दिया जाता है इस प्रक्रिया के बाद सिलिकॉन के अणु आपस में जुड़ जाते है जिससे इसमें इलेक्ट्रान आपस में बंध जाने के कारण ये एक दूसरे से जुड़ जाते है अगर इसमें फास्फोरस के अणुओ को इसमें इंजेक्ट किया जाता है जिससे इसमें एक इलेक्ट्रान फ्री या आजाद हो जाते है इस स्ट्रक्चर में यदि पर्याप्त ऊर्जा दिया जाये तो इसमें इलेक्टॉनस फ्री होते है जिससे DC Current उतपन्न होता है।
जब इस संरचना पर सूर्य की ऊर्जा पड़ती है तब इसमें मौजूद इलेक्ट्रान को प्रोटोन मिलने से ये आपस में मिल जाते है और गति करते है लेकिन यह गति अव्यवस्तित होती है जिसे व्यव्स्तित करने इसमें Driving Force की आवयश्कता होती है
PN Junction एक Driving Force उतपन्न करता है जिसमे, सिलिकॉन में बोरोन के 3 संयोजकता वाले इलेक्ट्रॉन्स के साथ इंजेक्ट करने से हर अनु में छिद्र उतपन्न हो जयगा इसे B Type डोपेन कहते है इसे आपस में जोड़ने से इसमें एल्क्ट्रोन और प्रोटोन का अडान प्रदान होना शुरू हो जाता है जिसमे से Current को बैटरी में स्टोर किया जाता है।
ये बैटरी Inverter से Connect रहता है। बैटरी के पास से DC Current को Inverter , AC Current में बदल कर इसका उपयोग किया जाता है।
(solar cell बनाने के लिए silicon की जरूरत होती है ये सिलिकॉन आसानी से रेट या बालू को Carbon के साथ मिला कर बनाया जाता है। )
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